Top Heart Touching Shayari

इश्क के जोश में मदहोश कोई दिखता रहा।
किसी और कि वफा में कोई और बिकता रहा।।
किसी कि यादें बिक रही हैं महबूब की बाहों में।
कोई आंखों में आंसू लिए दर्द अपने लिखता रहा।।
मोहब्बत करने वालों को फुर्सत कहाँ जो गम लिखेंगे।
ऐ दोस्त कलम इधर लाओ इसके बारे में हम लिखेंगे।।

जख्म देने की आदत नहीं हमको;
हम तो आज भी वो एहसास रखते है।
बदले बदले से तो आप है जनाब;
जो हमारे अलावा सबको याद रखते है।।
मुस्कुराहट पर तो लाखों फ़िदा होते हैं, बात
तब बने जब आँसुओं का भी कोई हिस्सेदार हो।
सरे-आम मुझे ये शिकायत है ज़िन्दगी से,
क्यूँ मिलता नहीं मिजाज़ मेरा किसी से।
मुस्कान को जरा सजा कर चल।
अश्क आंखों में ही छुपा कर चल।।
अब नमक जेब में रखता है जमाना।
जख्म अपने जरा दबा कर चल।।
हँसकर जीना ही दस्तूर है ज़िंदगी का,
एक यही किस्सा मशहूर है ज़िंदगी का।
बीते हुए पल कभी लौट कर नहीं आते,
यही सबसे बड़ा कसूर है ज़िंदगी का।।
हद-ए-शहर से निकली तो गाँव गाँव चली,
कुछ यादें मेरे संग पाँव पाँव चली।
सफ़र जो धूप का किया तो तजुर्बा हुआ,
वो ज़िन्दगी ही क्या जो छाँव-छाँव चली।।
नजरिया बदल के देख, हर तरफ नजराने मिलेंगे।
ऐ ज़िन्दगी यहाँ तेरी तकलीफों के भी दीवाने मिलेंगे।
खुशी में भी आँख आँसू बहाती रही,
जरा सी बात हमें देर तलक रुलाती रही।
कोई खो के मिल गया तो कोई मिल के खो गया,
ज़िन्दगी हम को बस ऐसे ही आज़माती रही।।
छोड़ना है तो छोड़ दे तन्हा मुझको ऐ ज़िन्दगी
मुझे रोज़-रोज़.. यूं तमाशा ना बनाया कर।।
सारी की सारी मोहब्बत मैंने उस खत में भर दी,
फिर भी मगर मेरा टूटा हुआ दिल जुड़ ना पाया।
इतना दर्द लिखा मैंने उस कागज के एक टुकड़े में,
कबूतर रो दिया मगर लेकर उड़ ना पाया।।
ऐ ख़त के पढ़ने वाले ज़रा दिल लगाके पढ़ना।
आंसू ना निकल आये, ज़रा मुस्कुरा के पढ़ना।।
बाद मरने के मेरे तुम जो कहानी लिखना,
कैसे बर्बाद हुई मेरी जवानी लिखना।
यह भी लिखना के मेरे होंठ हंसी को तरसे,
उमर भर आंख से बहता रहा पानी लिखना।।
मौसम को मौसम की बहारों ने लुटा।
हमें कश्ती ने नहीं किनारों ने लुटा।।
आप तो डर गये मेरी एक ही कसम से।
आपका कसम देकर हमे तो हज़ारों ने लुटा।।
दर्द क्या होता है बताएंगे किसी रोज़।
इस दिल की ग़ज़ल सुनाएंगे किसी रोज़।।
उड़ने दो परिंदो को इन आज़ाद फिज़ाओं में।
अगर हमारे हुए तो लौट आएंगे किसी रोज़।।
दर्द ऐ दिल पाओगे वफा करके,
हमने देखा है तजुर्बा करके।।
जिन्दगी तो कभी नहीं आयी,
पर मौत जरूर आयी ज़रा ज़रा करके।।
सपना कभी साकार नहीं होता।
मोहब्बत का कोई आकार नहीं होता।।
सब कुछ हो जाता है इस दुनियां में।
मगर दोबारा किसी से सच्चा प्यार नहीं होता।।
एक अजीब दास्तां है मेरे अफसाने की।
मैंने पल पल कोशिश की उसके पास जाने की।।
किस्मत थी मेरी या साजिश थी जमाने की।
दूर हुए इतना जितनी उम्मीद थी पास आने की।।
उस नजर की तरफ मत देखो।
जो तुम्हें देखने से इंकार करती है।।
इस दुनिया की महफिल में उस नजर को देखो।
जो नज़रें तुम्हारा इंतजार करती हैं।
Best Heart Touching Shayari
जो नहीं होता है उसका ही ज़िकर होता है।
हर इक सफ़र में मेरे साथ घर होता है।।
मैं इक फ़कीर से मिलकर ये बात जान गया।
दवा से ज़्यादा दुआओं में असर होता है।
नस नहीं काटी गई सो काट ली ये ज़िंदगी ,
रो नहीं पाए तो हमको शायरी करनी पड़ी।

तेरी चाहत में रुसवा यूं सरे बाजार हो गए।
हमने ही दिल खोया हम ही गुनाहगार हो गए।।
डूब जाते हैं उम्मीदों के सफ़ीने इस में,
मैं नहीं मानता आँसू ज़रा सा पानी है।
जिनकी हंसी बहुत खूबसूरत होती है,
उनके जख्म भी अक्सर बहुत गहरे होते हैं।
उससे कह दो कि तमाचे का तकल्लुफ न करे,
उसका हर लफ्ज़ मेरे मुंह पे निशान छोड़ता है।
क्या कहा तेरा जुर्म बताऊं -2
देखो अब मैं सो नहीं पाता हूं।
ये फकीरों की महफ़िल है चले आओ,
हम जैसे लोग हैसियत नहीं पूछते।
प्यार और मौत से डरता कौन है,
प्यार तो हो जाता है मगर इसे करता कौन है।
हम भी लुटाते प्यार में दिलों जान, मगर
पता तो चले कि हमसे प्यार करता कौन है।।
एक मुलाकात हुई वो भी बिछड़ने के लिए,
कैमरा टूट गया एक ही तस्वीर के बाद।
मेरी तनहाई देखेंगे तो हैरत ही करेंगे लोग,
मोहब्बत छोड़ देंगे या मोहब्बत ही करेंगे लोग।
वो शख़्स आके मेरे मोहल्ले में बस गया,
मुझ पर निगाह पड़ गई परवर दिगार की।
यह दुनिया बड़ी ज़ालिम है, बेवफाओं से,
हारकर वफादारों से बदला लेते हैं लोग।
फुर्सत मिले जो दुनियाँ से,
एक इनायत इधर भी करना।
आज देर से आये है महफ़िल में तुम्हारे,
एक शायरी हमारे नाम भी करना।।
चलते थे इस जहाँ में कभी सीना तान के,
कम्बख्त इश्क़ क्या हुआ घुटनों पे आ गए।।
मुझसे दूर जा रहे जो एक मशवरा मेरा याद रखना।
कभी भी मेरा ख्याल आये तो अपना ख्याल रखना।।
आंसू अपने ही हाथ से पोछ लेना दोस्तों !
ग़र दूसरा पोछेगा तो उसकी कीमत भी वसूलेगा।।
लाजवाब है मेरी जिंदगी का फ़साना,
कोई सीखे मुझसे हर पल मुस्कुराना।
पर कोई मेरी हसीं को नज़र मत लगाना,
बहुत दर्द सहकर सीखा है मुस्कुराना।।
गुजरे हुए का इल्म था न आने वाले का ख्याल था,
नादानियों में जो गुजर गया वो वक़्त ही कमाल था।
तजुर्बा मोहब्बत का भी है जरुरी है जिंदगी के लिए।
वरना दर्द में भी मुस्कुराने का हुनर कहाँ से आएगा।।
अब आंसुओ को आँखों में सजाना होगा,
चिराग बुझ गये अब हमें खुद को जलाना होगा।
ना समझना कि तुमसे बिछड़ के खुश हैं हम।
हमें अब लोगों के खातिर मुस्कुराना होगा।।
किताबों में बहुत ढूंढ़ा मगर नहीं पाया।
जो कुछ बड़ों ने अपने अनुभव से सिखाया।।
उसे लगता है जब चाहेगा लौट आएगा किरदार में।
उसे खबर ही नहीं कि कहानी खत्म हो चुकी है।।
मेरे कुछ गुनाहों की सजा भी साथ चलती है।
मैं अकेला नहीं दवा भी साथ चलती है।।
वैसे ही कुछ कम नहीं थे बोझ दिल पर।
कमबख़्त दर्ज़ी भी जेब बायीं ओर लगाता है।।
लोग भी कमाल करते हैं, बदलते
खुद हैं, बदनाम हमें करते हैं।
न मिलता गम तो बर्बादी के अफ़साने कहाँ जाते,
गर जिंदगी हमेशा होती चमन तो वीराने कहाँ जाते।
चलो अच्छा हुआ अपनों में कोई गैर तो निकला,
सभी अगर अपने होते तो बेगाने कहाँ जाते।।
शायरी का तो पता नहीं जनाब,
हम तो शब्दो के तीर चलाते है।
किसी के दिल को ठेस तो,
किसी के दिल को मलहम लगाते हैं।।
तेरी नज़रो से फुर्सत न मिली,
वरना मर्ज़ इतना लाइलाज नहीं था।
हमने तो वहाँ भी मोहब्बत बाट दी,
जहाँ मोहब्बत का रिवाज़ न था।।
उन्हें मेरी हकीकत का पता कुछ भी नहीं,
इलज़ाम हज़ारों है पर मेरी खता कुछ भी नहीं।
ना पढ़ सकेगा कोई मेरी जिंदगी की किताब,
हर पन्ना भरा है पर लिखा कुछ भी नहीं।।
दिल में रोये मगर होठों से मुस्कुरा बैठे।
यूं ही हम किसी से वफ़ा निभा बैठे।
वो हमें एक लम्हा न दे पाए प्यार का,
और हम उनके लिए जिंदगी लुटा बैठे।।
फिर ना सिमटेगी मोहब्बत जो बिखर जाएगी,
जिंदगी जुल्फ नहीं है जो फिर सवंर जाएगी।
थाम लो हाथ उसका जो प्यार करे तुमसे,
ये जिंदगी ना मिलेगी दोबारा जो गुजर जाएगी।।
अब ख़ुशी की तलाश रहने दो,
मुझको यूँ ही उदास रहने दो।
खुशियाँ ले जाओ तुम मेरी,
मेरे दर्द को मेरे पास रहने दो।।
गुजर जाता है मंज़र तबाही दिखती नहीं।
इश्क़ लाइलाज है साहब,
इसकी दवाई कहीं बिकती नहीं।।
कोई करता है मोहब्बत में इंतज़ार,
तो कोई इंतज़ार से ही मोहब्बत किये बैठा है।
कोई सात फेरो के बाद भी प्यार नहीं करता,
तो कोई ऑनलाइन ही अपना दिल दिए बैठा है।।
आज ये पल है कल बस यादें होंगी,
जब ये पल न होगा, तब सिर्फ बातें होंगी।
जब पलटोगे जिंदगी के पन्नो को तो,
कुछ पन्नों पर आँखे नम और कुछ पर मुस्कराहट होगी।।
कब तलक तेरे इश्क को रोऊँ,
मेरे घर के भी सौ मसले हैं।
अपनी कीमत उतनी रखिए जो अदा हो सके,
अगर अनमोल हो गए तो तन्हा हो जाओगे..!!
यादों में तेरी याद थी, क्या याद था कुछ याद नहीं।
तेरी याद में सब भूल गए,
क्या भूल गए कुछ याद नहीं।।
जो भूल गये तेरी याद में, क्या याद था वह याद नहीं।
याद हो तो सिर्फ तुम हो, क्यूं याद हो यह याद नहीं।।
कौन कहता है कि हम खूबसूरत पोस्ट करते हैं,
अरे! खूबसूरत तो वो हैं, जो हमारी पोस्ट पढ़ते हैं।
मुमकिन नहीं कि वो बेखबर हो जज़्बातों से मेरे,
बात दिल कि थी दिल तक तो जाती ही होगी।।
काश की खुदा ने दिल शीशे के बनाये होते,
तोड़ने वालों के हाथ जख्म तो आये होते।
हद से ज्यादा अगर बढ़ जाये ताल्लुक तो गम मिलते है,
हम इसी वास्ते हर शख्स से अब कम मिलते है।
तुझे बिकना हो तो व्यापार भी हो सकता है,
तेरा चाहने वाला ही तेरा खरीदार भी हो सकता है।
अपने दुश्मनो को शक की निगाहों से न देखो,
तेरा कातिल तेरा यार भी हो सकता है।।
चंद खोटे सिक्के जो खुद नहीं चले बाजार में,
वो भी कमियाँ ढूंढ रहे है आज मेरे किरदार में।
जो लिख दिया हमने तुम्हारे प्यार में,
वो औरो को मंज़ूर हो रहा है।
हम ना सही हमारे अलफ़ाज़ ही सही,
चलो कुछ तो मशहूर हो रहा है।।
दिल जीत ले वो नज़र हम भी रखते है।
भीड़ में नज़र आये वो असर हम भी रखते है।।
यूँ तो वादा किया है किसी से मुस्कुराने का।
वरना इन आँखों में समंदर तो हम भी रखते है।।
दिल ही दिल में कुछ छुपाते हो तुम,
यादों में मेरा अक्सर चैन चुराते हो तुम।
ना जाने कहाँ से ये जादू सीख रखा है,
सोते वक़्त सपनो में आकर बड़ा तड़पाते हो तुम।।
कहाँ कोई मिला ऐसा जिस पर दिल लुटा देते,
हर एक ने धोखा दिया किस किस को भुला देते।
अपने दर्द को अपने दिल में ही दबाये रखा,
अगर बयां करते तो पूरी महफ़िल को रुला देते।।
बद-क़िस्मती को कभी, गंवारा ना हुआ।
हम ग़र मर मिटें, तो भी हमारा ना हुआ।
जब किस्मत में ही नहीं,
तो मेहनत क्या खाक करेगी।
जो बिछड़ने का दर्द जानता है,
वो साथ बैठे परिंदों को भी नहीं उड़ाता।
गम इस कदर मिला कि घबराकर के पी गये।
खुशी बस थोड़ी सी मिली तो मिला के पी गये।।
यूँ तो पहले से पीने की आदत नहीं थी।
श..ब को तन्हा देखा तो तरस खा के पी गये।।
बहुत जरूरी है पैसा कमाना। क्योंकि...
आजकल दिल नहीं, औकात देखा है जमाना।।
सर्द मौसम में कभी घर से निकलकर देखना।
हाल कैसा है कभी मेरे साथ चलकर देखना।।
जनवरी की सर्द रातें, ये सताती हैं कितना।
बस्तियों में कभी गरीबों के तुम ठहरकर देखना।।
सजा कर दिल में रख लेना मेरी यादों को ऐ हम दम;
जो पल है आज है, कहाँ फिर तुम, कहाँ फिर हम।
कभी फिर बाद में "समझूंगा" तुमको.!!
अभी ख़ुद को ज़रा "पहचान" लूं मैं.!
"मेरा साया" तलक मेरा नही है अभी...!
"तू मेरा है" ये कैसे मान लूं मैं....!
ग़र यकीन ना हो तो बिछड़ के देख लो,
तुम मिलोगे सबसे मगर हमारी ही तलाश में !
मत रख हमसे वफ़ा की उम्मीद ऐ सनम !
हमने हर दम बेवफाई पायी है।
मत ढूँढ हमारे जिस्म पे जख्मों के निशान,
हमने कई चोटें तो दिल पे खायी हैं।।
जिंदगी की दौड़ में तजुर्बा कच्चा रह गया।
हमने न सीखा फरेब और दिल बच्चा रह गया।।